पटना: बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा (HAM) के प्रमुख जीतन राम मांझी ने सोमवार को दावा किया कि राज्य में लागू शराबबंदी से पुलिस में भ्रष्टाचार बढ़ा है. 78 वर्षीय नेता, मांझी ने कहा कि मेरे पिता और माता ने भी “लाल पानी” (शराब) का सेवन किया है, लेकिन मैंने अपने जीवन में कभी भी शराब को हाथ नहीं लगाया.
शराबबंदी से ज्यादा लोगों में जागरूकता जरूरी
मांझी ने कहा कि राज्य में शराब पर प्रतिबंध लगाने के बजाय शराब का सेवन न करने के प्रति लोगों में जागरूकता फैलानी चाहिए. उन्होंने कहा कि बिहार जैसे राज्य में शराबबंदी से ज्यादा लोगों में जागरूकता जरूरी है. राज्य सरकार ने बिहार में शराब पर प्रतिबंध लगा दिया है. यह बिहार में पुलिस कर्मियों के लिए पैसा कमाने का साधन बन गया है और इससे विभाग में भ्रष्टाचार को बढ़ावा मिल रहा है.
प्रतिबंध के बावजूद भी बिहार में हर जगह शराब उपलब्ध
जीतन राम मांझी ने कहा कि मेरे पिता और मां ने भी शराब का सेवन किया. पहले बिहार में शराब पर प्रतिबंध नहीं था. लेकिन मैंने अपने पूरे जीवन में कभी भी शराब को नहीं छुआ. मेरा उद्देश्य शराब पर प्रतिबंध लगाने के बजाय बिहार के लोगों में शराब से बचने के लिए जागरूकता पैदा करना है. उन्होंने कहा कि प्रतिबंध के बावजूद भी बिहार में शराब हर जगह उपलब्ध है. हम अक्सर बिहार में जहरीली शराब की त्रासदी के कारण बड़े पैमाने पर मौतें देखते हैं. यह केवल शराबबंदी के खराब कार्यान्वयन के कारण हो रहा है. मैं फिर से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मिलूंगा और इस मामले पर उनसे बात करूंगा.
(इनपुट-आईएएनएस)